बिहार में को-वर्किंग स्पेस फॉर स्टार्टअप की शुरुआत होने जा रहा है। आपकी जानकारी के लिए बता दें कि को वर्किंग स्पेस फॉर स्टार्टअप का मतलब यह होता है कि जहा एक ही ऑफिस में विभिन्न कंपनियों के लोग बैठते हो। इस व्यवस्था के होने से खासकर छोटे उद्यमियो को लाभ मिलेगा जो ऑफिस का खर्चा नहीं उठा सकते है। बता दें कि इसको लेकर उद्योग विभाग ने तैयारी पूरी कर लिया है।

सभी जिलों के लिए होगा लॉन्च 

बता दे कि इसका मॉडल पटना, मुजफ्फरपुर, भागलपुर सहित बिहार के सभी अन्य जिलों में भी लॉन्च किया जायेगा। उद्योग विभाग की अनुसार जल्द ही इसे लॉन्च किया जायेगा। मिली जानकारी के अनुसार को-वर्किंग स्पेस अब केवल नए उधमियों या फ्रीलांसर की पसंद ही नहीं बल्कि अब इसे बड़े कॉर्पोरेट भी इसमें अपनी रूचि दिखने लगी है। हालाँकि इस प्लान पर अभी तक बड़े बड़े शहरो में ही काम होते है पटना में भी इस तरह की व्यवस्था से कुछ कंपनियां चल रही है। उद्योग विभाग की ओर से अलग अलग शहरो के लिए प्लान की गयी है।

क्या है को-वर्किंग स्पेस जानिए

को-वर्किंग स्पेस का मतलब यह है कि एक ही जगह कई कंपनियों के लोग एक ही ऑफिस में बैठते हो। स्टार्टिंग में फ्रीलांसर के लिए यह व्यवस्था अपनया गया था। छोटे उद्यमियों के लिए यह व्यवस्था लाभकारी साबित होता है जिन्हे दो चार कुर्शी और एक ऑफिस की जरूरत पड़ती है। अब वही बड़े कंपनियां भी इसे अपनाने लगी है और किराये पर डेस्क और ऑफिस लेने लगी है। बता दें कि अपनी बचत के ज़्यदातर फ्रीलांसर ऐसे बिकल्प का चुनाव करते है।

Rajan Sharma

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